




समीर कुमार मिश्र.
किसी भी समारोह की थाली में यदि मशरूम का ज़िक्र न हो तो सच कहा जाए तो वह अधूरा सा लगता है। खासकर शाकाहारी लोगों के लिए यह भोजन में वैरायटी और स्वाद का नया अनुभव है। आमतौर पर शाकाहारी भोजन में पनीर ही सबसे खास विकल्प माना जाता है, लेकिन जब पनीर के स्वाद से आगे बढ़कर कुछ अलग चाहा जाता है, तब मशरूम अपनी अनूठी पहचान दर्ज कराता है। यही कारण है कि आजकल हर छोटी-बड़ी दावत, होटल और रेस्तरां की मेन्यू में मशरूम एक ज़रूरी हिस्सा बन गया है।

परंतु मशरूम की अहमियत केवल स्वाद और व्यंजनों की विविधता तक सीमित नहीं है। यह अपने भीतर स्वास्थ्य का एक भंडार समेटे हुए है। वैज्ञानिक शोध बताते हैं कि मशरूम को ‘सुपर फूड’ कहना बिल्कुल उचित है। इसमें विटामिन, खनिज, फाइबर और एंटीऑक्सीडेंट भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं, जो शरीर को अनेक बीमारियों से बचाने के साथ-साथ लंबे समय तक स्वस्थ बनाए रखने में मदद करते हैं।

आज की बदलती जीवनशैली में बार-बार होने वाले संक्रमण और मौसमी बीमारियाँ हर किसी की चिंता का विषय हैं। मशरूम इस समस्या का कारगर समाधान माना जाता है। इसमें मौजूद बायोएक्टिव तत्व शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को मज़बूत करते हैं। इसका नियमित सेवन करने से सर्दी-जुकाम जैसी सामान्य परेशानियों से बचाव होता है और शरीर रोगों से लड़ने के लिए तैयार रहता है।

दिल की बीमारियाँ आधुनिक जीवन की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक हैं। डॉक्टर लगातार इस बात पर ज़ोर देते हैं कि हमें अपने खान-पान में ऐसे खाद्य पदार्थ शामिल करने चाहिए जो हृदय के लिए लाभकारी हों। मशरूम इस दृष्टि से बेहद उपयोगी है। इसमें पाया जाने वाला फाइबर और पोषक तत्व कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में सहायक हैं, जिससे धमनियों में रुकावट का खतरा घटता है और दिल की कार्यप्रणाली स्वस्थ बनी रहती है।

कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसका नाम सुनते ही मन में भय पैदा हो जाता है। मशरूम में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट इस भयावह बीमारी से लड़ने में सहायक साबित हो सकते हैं। शोध यह बताते हैं कि मशरूम के नियमित सेवन से शरीर में हानिकारक मुक्त कणों (फ्री रेडिकल्स) की सक्रियता कम होती है, जिससे कैंसर का खतरा घटता है।

आजकल मोटापा एक वैश्विक समस्या बन चुका है। लोग वजन घटाने के लिए तरह-तरह के डाइट प्लान अपनाते हैं। ऐसे में मशरूम एक बेहतरीन विकल्प है। इसमें कैलोरी और कार्बाेहाइड्रेट की मात्रा बेहद कम होती है, जबकि फाइबर भरपूर होता है। यही कारण है कि इसे खाने के बाद पेट देर तक भरा महसूस होता है और अनावश्यक भूख नियंत्रित रहती है। इस तरह यह वजन घटाने वालों का सबसे विश्वसनीय साथी बन जाता है।

पाचन तंत्र का स्वस्थ रहना पूरे शरीर की सेहत के लिए आवश्यक है। मशरूम में मौजूद फाइबर कब्ज जैसी समस्या से राहत दिलाता है और पाचन प्रक्रिया को सुचारू बनाए रखता है। जिन लोगों को पेट से जुड़ी परेशानियाँ रहती हैं, उनके लिए मशरूम का सेवन विशेष रूप से लाभकारी है।

हम अक्सर यह मानते हैं कि केवल दूध और पनीर ही हड्डियों के लिए अच्छे होते हैं। जबकि मशरूम भी विटामिन डी का एक उम्दा स्रोत है। यह हड्डियों और मांसपेशियों को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाता है। खासकर उन लोगों के लिए जिनके जीवन में सूर्यप्रकाश का संपर्क कम होता है, उनके लिए मशरूम प्राकृतिक विटामिन डी का एक बेहतरीन विकल्प है। आज के समय में बढ़ता हुआ ब्लड प्रेशर अनेक गंभीर बीमारियों का कारण बन रहा है। मशरूम इस समस्या से निपटने में मददगार साबित हो सकता है। इसमें सोडियम कम और पोटैशियम की मात्रा अधिक होती है, जो रक्तचाप को नियंत्रित रखने में सहायक है।

मशरूम में पाए जाने वाले बायोएक्टिव यौगिक सूजन को कम करने में भी कारगर हैं। यह गुण शरीर को कई तरह की पुरानी बीमारियों जैसे आर्थराइटिस और हृदय रोगों से बचाने में सहायक होता है। स्वास्थ्य लाभों के साथ-साथ मशरूम का स्वाद भी इसकी लोकप्रियता का एक बड़ा कारण है। इसे कई प्रकार के व्यंजनों में आसानी से शामिल किया जा सकता है। चाहे वह सूप हो, सलाद हो, पराठा हो या फिर सब्ज़ी। इसकी लचक यही है कि यह हर व्यंजन को अपने स्वाद और पौष्टिकता से समृद्ध कर देता है।

मशरूम केवल भोजन की थाली को विविधता से भरने वाला खाद्य पदार्थ नहीं, बल्कि सेहत का खज़ाना है। यह रोगों से बचाने वाला कवच है, शरीर को ऊर्जावान बनाए रखने वाला ईंधन है और जीवन की गुणवत्ता को बेहतर बनाने वाला प्राकृतिक उपहार है। इसलिए यदि आप स्वस्थ जीवन की ओर एक कदम बढ़ाना चाहते हैं तो अपने भोजन में मशरूम को शामिल कीजिए। स्वाद और स्वास्थ्य का यह अद्भुत संगम न केवल आपके जीवनशैली को बेहतर बनाएगा, बल्कि हर समारोह की थाली को भी यादगार बना देगा।


