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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश किया, जिसमें आयकर कानून में कई महत्वपूर्ण परिवर्तन प्रस्तावित किए गए हैं। इस लेख में, हम बजट के प्रमुख परिवर्तनों का विस्तृत विश्लेषण करेंगे। छोटे करदाताओं को लुभाने का प्रयास किया गया है लेकिन उन्हें जितनी राहत दी गई है वह उंट के मुंह में जीरा वाली कहावत को सिद्ध करती है। सरकार ने विदेशी निवेशकों को लुभाने का प्रयास किया है। विदेशी कंपनियों को टैक्स में 10 फीसद छूट देकर सरकार ने मैसेज देने का प्रयास किया है कि देश में विदेशी निवेशक आएं और कारोबार बढाएं।
नई कर प्रणाली के अंतर्गत स्लैब दरों में परिवर्तन
- 0-3,00,000 रुपये शून्य
- 3,00,000-7,00,000 रुपयेरू 5 फीसद
- 7,00,000-10,00,000 रुपयेरू 10 फीसद
- 10,00,000-12,00,000 रुपयेरू 15 फीसद
- 12,00,000-15,00,000 रुपयेरू 20 फीसद
- 15,00,000 रुपये से ऊपररू 30 फीसद
अल्पकालिक पूंजीगत लाभ कर
-वित्तीय संपत्तियों पररू सभी वित्तीय संपत्तियों पर अल्पकालिक पूंजीगत लाभ पर अब 20 फीसद की दर से कर लगाया जाएगा। यह परिवर्तन 23 जुलाई, 2024 से प्रभावी होगा। अन्य संपत्तियों पररू अन्य सभी संपत्तियों पर अल्पकालिक पूंजीगत लाभ कर दर में कोई परिवर्तन नहीं किया गया है और यह पूर्ववत रहेगा।
दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ कर
सभी संपत्तियों पररू दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ पर अब 12.5 फीसद की दर से कर लगाया जाएगा, लेकिन इसमें इंडेक्सेशन लाभ को हटा दिया गया है। यह नियम भी 23 जुलाई, 2024 से प्रभावी होगा।
धारा 112ए के अंतर्गत छूटरू धारा 112ए के अंतर्गत दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ की छूट सीमा को 1,00,000 से बढ़ाकर 1,25,000 रुपये कर दिया गया है।
मानक कटौती में वृद्धि
नए कर प्रणाली के अंतर्गत मानक कटौती को 50,000 रुपये से बढ़ाकर 75,000 रुपये कर दिया गया है, जिससे मध्यम करदाताओं को राहत मिलेगी।
धारा 194ए के अंतर्गत टीडीएस
साझेदारी फर्म के भागीदारों को 20,000 रुपये से अधिक का पारिश्रमिक देने पर अब 10 फीसद की दर से टीडीएस काटा जाएगा, जिससे कर अनुपालन में पारदर्शिता आएगी।
एंजेल टैक्स हटाना
एंजेल टैक्स को 1 अप्रैल, 2025 से हटाया जाएगा, जिससे स्टार्टअप्स और नवाचार को बढ़ावा मिलेगा और निवेशकों का विश्वास बढ़ेगा।
विवाद से विश्वास योजना 2024
लंबित आयकर विवादों के समाधान के लिए विवाद से विश्वास योजना 2024 को पेश किया गया है, जिससे लंबित मामलों का तेजी से निपटारा हो सकेगा।
विदेशी कंपनियों पर कॉर्पाेरेट कर
विदेशी कंपनियों के लिए कॉर्पाेरेट कर की दर को 40 फीसद से घटाकर 35 फीसद कर दिया गया है, जिससे विदेशी निवेश को बढ़ावा मिलेगा और भारत को एक आकर्षक निवेश गंतव्य बनाया जा सकेगा। पारिवारिक पेंशन में काफी समय बाद ध्यान दिया गया है जिसमे छूट 15000 से बडा कर 25000 किया गया है। एक छोटी राहत दी गई है पर ध्यान दिया गया है।
-लेखक भटनेर पोस्ट मीडिया ग्रुप के मैनेजिंग एडिटर व जाने-माने अधिवक्ता हैं