ग्राम सेतु ब्यूरो.
हनुमानगढ़ कलेक्टर काना राम ने 24 सितंबर को कलेक्ट्रेट में धान, मूंग व मूंगफली की एम.एस.पी पर खरीद प्रक्रिया को लेकर समीक्षा बैठक की। उन्होंने कृषि विपणन, सहकारिता, भारतीय खाद्य निगम सहित अन्य विभागीय अधिकारियों से कहा कि किसानों की तरक्की से ही प्रदेश और जिले की प्रगति संभव है। राज्य सरकार किसानों की आय में इजाफा करने के लिए संकल्पबद्ध होकर काम कर रही है। अन्नदाता को किसी भी परेशानी का सामना नहीं करना पड़े, इसकी सुनिश्चिता हम सभी की जिम्मेदारी है। बैठक में राइस मिल संचालकों भी उपस्थित रहे। कलेक्टर ने कहा कि धान खरीद में किसी भी तरह का व्यवधान नहीं आना चाहिए। इसके लिए अधिकारी नियमित मंडियों में जाकर व्यवस्थाएं देखें। संबंधित मंडी सचिव, किसान और भारतीय खाद्य निगम अधिकारियों के साथ बैठक करें।
कृषि विपणन क्षेत्रीय उपनिदेशक डी.एल. कालवा ने बताया कि खरीफ सीजन में जिले की धान बुवाई क्षेत्र वाली मंडी समितियों के मंडियों में 9099 क्विंटल आवक हुई हैं। इसका औसत भाव 2150 रुपए प्रति क्विंटल के लगभग है। बैठक में कलेक्टर ने भारतीय खाद्य निगम के क्षेत्र प्रबंधक से धान खरीद की तैयारियों की प्रगति जानी। निगम ने अवगत कराया की धान की एम.एस.पी. पर खरीद बाद मिलिंग के लिए जिले की फॉर्टीफाइड राइस मिल्स को चिहिन्त कर ली गई है। मिलिंग के बाद मिल संचालकों को चावल की कीमत का भुगतान राज्य सरकार से निर्धारित कॉस्टशीट के आधार पर होता है। जिला कलेक्टर ने मंडियों में धान, मूंग व मूंगफली की फसलों की आवक पर समीक्षा की।
मिल संचालकों ने बताया कि मंडियों में कृषि जिन्सों की प्रारंभिक आवक हो रही है, उसमें नमी की मात्रा अधिक है। मंडी सचिव हनुमानगढ़ सीएल वर्मा ने बताया कि उन्होंने मंडी प्रांगण में धान की आवक में से 5 ढेरियों की नमी की जांच कराई। इसमें नमी की मात्रा 22.8 से 25.6 प्रतिशत तक पाई गई है। इस पर मिल संचालकों ने जानकारी दी कि जिस गुणवत्ता का धान भारतीय खाद्य निगम द्वारा एम.एस.पी. खरीद में लिया जाता है, उसमें नमी की अधिकतम मात्रा 17 प्रतिशत तथा 2 झार लगने के पश्चात साफ किया हुआ होता है। ऐसे में वर्तमान बाजार भाव 2150 रुपए की स्थिति को देखे तो इसी बाजार भाव से किसान को लगभग 2600-2700 रुपए प्रति क्विंटल भाव के बराबर कीमत मिल रही है।
भारतीय खाद्य निगम अधिकारियों ने बताया कि धान की एम.एस.पी. खरीद की स्वीकृति प्राप्त होने के 15 दिन की अवधि में खरीद शुरू कर दी जाएगी। सहकारिता विभागीय अधिकारियों ने बताया कि उनके स्तर से एम.एस.पी. खरीद की तैयारी कर ली गई है। उन्होने अवगत कराया कि मूंग की बहुत कम मात्रा में आवक हो रही है, उसमे भी नमी की मात्रा 12-15 प्रतिशत है जो कि तय मापदंड 8 प्रतिशत से बहुत अधिक है। इस प्रकार अभी एम.एस.पी. खरीद के लिए निर्धारित एफ.ए.क्यू. गुणवत्ता की आवक नही हो रही है। कलेक्टर ने एम.एस.पी. पर धान, मूंग, मूंगफली व कपास की आवश्यक तैयारी रखने और राज्य सरकार से खरीद की स्वीकृति मिलने पर तत्काल खरीद की कार्यवाही शुरू करने के निर्देश दिए। बैठक में जिला रसद अधिकारी सुनील घोड़ेला, भारतीय खाद्य निगम के क्षेत्र प्रबंधक अभिरित चौधरी, सहकारिता से इंद्रजीत बिश्नोई, मंडी सचिव सीएल वर्मा सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।