

ग्राम सेतु डॉट कॉम.
राजस्थान में नकली खाद, घटिया बीज और मिलावटी कीटनाशकों के खिलाफ चलाए गए विशेष अभियान की गूंज अब दिल्ली तक पहुंच गई है। राज्य के कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ी लाल मीणा की पहल पर केंद्र सरकार ने इस गंभीर मुद्दे पर सख्त कानून लाने की सहमति जताई है। माना जा रहा है कि जल्द ही संसद में एक व्यापक विधेयक पेश किया जा सकता है, जो देशभर के किसानों के लिए राहत की उम्मीद लेकर आएगा। डॉ. मीणा ने हाल ही में दिल्ली प्रवास के दौरान केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात कर इस विषय पर विस्तार से चर्चा की। उन्होंने बताया कि राजस्थान में चलाए गए अभियान के दौरान नकली खाद और बीज की बड़ी खेप जब्त की गई, साथ ही एक अवैध बायो-डीजल प्लांट को भी सील किया गया है। राजस्थान सरकार की इस कार्रवाई को देश के बाकी राज्यों में भी लागू करने के लिए डॉ. मीणा ने देशव्यापी सख्त कानून बनाने का आग्रह किया। उन्होंने कहा, “मैंने केंद्रीय मंत्री से आग्रह किया कि पूरे देश में मिलावटी और नकली कृषि उत्पादों पर अंकुश लगाने के लिए एक कठोर कानून बनाया जाए। इस पर शिवराज सिंह चौहान ने तुरंत सहमति जताते हुए बताया कि इस दिशा में काम शुरू हो चुका है और जल्द ही संसद में प्रस्ताव पेश किया जाएगा।” नकली खाद-बीज और कीटनाशकों से किसान लगातार नुकसान झेलते आ रहे हैं। फसलें खराब होती हैं, उपज घटती है और लागत व्यर्थ जाती है। यही वजह है कि देशभर के किसान लंबे समय से इस पर सख्त कानून की मांग कर रहे थे। अब जब केंद्र सरकार ने स्पष्ट संकेत दे दिया है, तो उम्मीद की जा रही है कि ऐसे कारोबारियों को कठोर दंड, जेल और भारी जुर्माने का प्रावधान किया जाएगा।
विशेषज्ञों का मानना है कि राजस्थान द्वारा उठाया गया यह कदम पूरे देश के लिए एक अनुकरणीय मॉडल बन सकता है। कृषि विभाग की सक्रियता और सख्त कार्रवाई ने यह दिखा दिया है कि यदि राजनीतिक इच्छाशक्ति हो, तो किसानों के हितों की रक्षा संभव है। डॉ. मीणा के बयान के बाद से कृषि क्षेत्र में हलचल तेज हो गई है। बीज व खाद के व्यापारी, किसान संगठन, कृषि वैज्ञानिक और राज्य सरकारें इस संभावित कानून को लेकर सतर्क हो गई हैं। यदि यह विधेयक संसद में पारित होता है, तो यह देश के करोड़ों किसानों के लिए एक बड़ी जीत मानी जाएगी।
